सेना की ताकत से छात्र रू-ब-रू

पंचकूला। ट्राइसिटी के छात्रों में देश सेवा की भावना को जगाने के लिए वीरवार को चंडीमंदिर स्थित वेस्टर्न कमांड की ओर से सेक्टर-5 के हुडा ग्राउंड में बोफोर्स गन, टी-90 टैंक, एंटी एयरक्राफ्ट गन्स समेत अन्य अत्याधुनिक हथियारों की प्रदर्शनी लगाई गई। इन हथियारों को देखकर छात्र काफी रोमांचित हुए और उन्होंने सेना की ताकत का भी लोहा माना। इस अवसर पर आर्मी बैंड ने विभिन्न धुनें निकालकर लोगों का मनोरंजन किया।
वेस्टर्न कमांड हेडक्वार्टर्स के मेजर जनरल आरजी कृष्णन ने प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। इसके के बाद विभिन्न स्कूलों के हजारों की संख्या में छात्रों और एनसीसी के कैडे्स ने सेना के हथियारों के बारे में जानकारी हासिल की। छात्रों ने हथियारों की मारक क्षमता और स्पीड, टैंकों की माइलेज समेत दूसरे देशों के बारे में भी सवाल पूछे। छात्रों के सवाल का जवानों ने बखूबी जवाब दिया। कई छात्रों ने टैंक के ऊपर और अंदर जाकर अनुभव हासिल किया। यह प्रदर्शनी शनिवार को चंडीगढ़ और सोमवार को मोहाली में लगाई जाएगी। प्रदर्शनी में नाभा, पटियाला, संगरूर समेत अन्य जगहों के जवान शामिल हुए।
यह हथियार रहे प्रदर्शनी में
शिलिका-लड़ाई में विमानों को मार गिराने के लिए। सेना के दस जवान टैंक के अंदर बैठ सकते हैं। मारक क्षमता करीब चार किलोमीटर।
टी-90 टैंक-दुश्मन देश के टैंकों और गगनचुंबी बिल्डिंगों को उड़ाने के लिए। मारक क्षमता 18 किलोमीटर।
ईआरवी-टैंक के खराब होने पर उसके उपकरणों को टैंक में लगाने और उसको उतारने के लिए काम में आता है। युद्ध के समय आवश्यक हो जाता है।
टी-55 टैंक-नहर, नाले और अन्य खाई आने पर पुल का काम करता है। टैंक में लगे ब्रिज आटोमैटिक तरीके से एक तरह के पुल में तबदील हो जाते हैं। इसकी सहायता से हथियार और जवान दूसरी ओर चले जाते हैं।
टैट्रा-टैंकों को ट्रकों पर चढ़ाने और उतारने के काम में आता है।
बीएमपी-2- हवाई जहाज और सॉफ्ट व्हीकल्स पर हमला करने में सहायक होता है। मारक क्षमता चार किलोमीटर।

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