फर्जीवाड़ा: तय समय में चालान पेश, बर्खास्त एचसीएस अनिल नागर समेत तीनों आरोपियों की मुश्किलें बढ़ीं

फर्जीवाड़ा: तय समय में चालान पेश, बर्खास्त एचसीएस अनिल नागर समेत तीनों आरोपियों की मुश्किलें बढ़ीं

चंडीगढ़
भ्रष्टाचार उन्नमूलन अधिनियम के तहत मामला दर्ज होने के बाद 60 के अंदर चालान दाखिल नहीं करने पर आरोपियों को जमानत मिलने का प्रावधान है।

हरियाणा लोक सेवा आयोग की डेंटल सर्जन और एचसीएस प्रारंभिक परीक्षा में हुए फर्जीवाड़े के मामले में राज्य सतर्कता ब्यूरो ने तय समय में चालान पेश कर दिया है। 60 दिन की तय अवधि से एक दिन पहले ही पंचकूला की अदालत में चालान पेश हुआ। इससे एचपीएससी के बर्खास्त उपसचिव एवं पूर्व एचसीएस अनिल नागर समेत तीनों आरोपियों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। तीनों को जमानत मिलना मुश्किल हो गया है। मामले में अन्य धाराएं जोड़ने के लिए विजिलेंस को अब एफएसएल मधुबन की जांच रिपोर्ट का इंतजार है।

रिपोर्ट आने के बाद विजिलेंस अनुपूरक (सप्लीमेंट्री) चालान पेश करेगी। इस मामले में विजिलेंस ने 17 नवंबर को भिवानी निवासी नवीन को गिरफ्तार किया था। नवीन से पूछताछ के बाद उसके साथी अश्वनी शर्मा को झज्जर से गिरफ्तार किया गया। उसके कब्जे से एक करोड़ रुपये से अधिक की राशि बरामद हुई।

अश्वनी ने बताया कि यह राशि एचसीएस नागर को देनी है। अश्वनी ने नागर को फोन किया तो नागर ने राशि एचपीएससी के कार्यालय में मंगवाई। अश्वनी ने जैसे ही राशि नागर को दी तो विजिलेंस ने उसे कार्यालय से ही दबोच लिया। रिमांड के दौरान डेंटल सर्जन और एचसीएस प्रारंभिक परीक्षा की ओएमआर शीट बरामद की गई थी।
नागर के कार्यालय से हार्ड डिस्क, पैन ड्राइव के अलावा उसका मोबाइल जब्त किया गया था। मोबाइल में मिली व्हाट्सएप चैटिंग में भर्ती के नाम पर पैसों के लेन-देन की बात सामने आई थी। आरोपियों पर भ्रष्टाचार उन्नमूलन अधिनियम, नकल विरोधी कानून समेत अन्य धाराओं में केस दर्ज किया गया था।

इन मामलों में एफएसएल की रिपोर्ट आनी बाकी
डीएसपी विजिलेंस सरीफ सिंह ने बताया कि जांच के आधार पर चालान पेश किया गया है। आरोपियों के वायस सैंपल, राइटिंग, व्हाट्सएप चैट समेत हार्ड डिस्क और पैन ड्राइव जांच के लिए एफएसएल मधुबन भेजी गई है। आरोपियों से बरामद डेंटल सर्जन और एचसीएस प्री की ओएमआर शीट में भरे गए गोलों की रिपोर्ट का भी अभी इंतजार है। लैब से रिपोर्ट मांगी है कि ओएमआर शीट में गोले कब भरे गए थे। इन तमाम बिंदुओं की रिपोर्ट आने के बाद ही विजिलेंस अनुपूरक चालान पेश करेगी।

डेंटल सर्जन और एचसीएस प्रारंभिक परीक्षा पर अभी कोई निर्णय नहीं
फर्जीवाड़ा सामने आने के आद एचपीएससी के उपसचिव अनिल नागर को बर्खास्त किया जा चुका है लेकिन डेंटल सर्जन और एचसीएस प्रारंभिक परीक्षा पर अभी कोई फैसला नहीं हो पाया है। आयोग को विजिलेंस की जांच रिपोर्ट का इंतजार है। सामाजिक कार्यकर्ता श्वेता ढुल का कहना है कि नागर को बर्खास्त किया जा चुका है तो इन परीक्षाओं को रद्द क्यों नहीं किया गया।

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