PM पद की रेस में पहला राउंड जीते मोदी

नई दिल्ली: दिल्ली की कड़कड़ाती सर्दी में भी नरेंद्र मोदी के शब्दकोश में छवि की भूमिका इतनी महत्वपूर्ण है कि वह अपने ट्रेडमार्क आधी
आस्तीन के सूती कुर्ते में ही युवाओं को सम्बोधित करने आए। मोदी ने देश के युवाओं को नए युग की शक्ति करार देते हुए आज कहा कि
उनमें 21वीं सदी को भारत की सदी बनाने का सामर्थ्य है और वे वोट की राजनीति के शिकंजे से बाहर निकल कर विकास की यात्रा पर
सवार होकर भव्य तथा दिव्य भारत का निर्माण कर सकते हैं।

मोदी ने राजधानी के प्रतिठिष्त श्री राम कालेज आफ कामर्स में छात्र छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि भारत भाग्यवान है कि उसकी 65 प्रतिशत से अधिक आबादी 35 वर्ष से नीचे की आयु की है। लगभग एक घंटे अपने भाषण में मोदी ने अपने आप को बेचने की भरपूर कोशिश की और उसमें बहुत हद तक वह सफल भी हुए उन्होंने कहा कि इसे अवसर के रूप में देखा जाना चाहिए और इस युवा शक्ति की बदौलत विश्व प्रगति की यात्रा में भारत सभी को पछाड़ सकता है।

उन्होंने कहा कि युवा शक्ति में सामथ्र्य है कि वह स्वामी विवेकानंद के सपने को पूरा करते हुए भारत को फिर से जगतगुरु का स्थान दिला सकती है। उन्होंने कहा कि यह अफसोस की बात है कि राजनीतिक दुनिया के लोग इस वर्ग को महज नये वोटर के रूप में देख रही है। उन्होंने कहा कि यदि यही नजरिया है तो स्थिति नहीं बदली जा सकती। उन्होंने कहा कि उनकी नजर में युवा महज वोटर नहीं बल्कि नए युग की शक्ति है और इस शक्ति को सही रास्ता दिखाकर ही प्रगति के मार्ग पर आगे बढ़ा जा सकता है।

एक घंटे से भी अधिक के अपने संबोधन में युवा शक्ति का आह्वान करते हुए मोदी ने कहा कि दुनिया में इस देश की छवि नौजवान ने ही बदली है। इसमें राजनेताओं की कोई भूमिका नहीं है। उन्होंने कहा कि इस देश के नौजवान ने कंप्यूटर के माउस पर उंगली रखकर देश की नई पहचान बनाई है और लोगों को सोचने पर मजबूर किया है। जरूरत है तो उस पर विश्वास करने की। मोदी के भाषण यह साफ है कि मोदी और राहुल गांधी के बीच भारत के युवा को अपने पक्ष में करने की होड़ लगी हुई है और मोदी के भाषण से यह साफ हो गया है कि इस होड़ मे मोदी ने शुरुआती बढ़त बनाई है।

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