हरियाणा के सात जिलों में इंटरनेट ठप, आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका भी दाखिल

हरियाणा के सात जिलों में इंटरनेट ठप, आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका भी दाखिल

चंडीगढ़
हरियाणा सरकार ने सात जिलों कैथल, पानीपत, जींद, रोहतक, चरखी दादरी, सोनीपत और झज्जर में वॉयस कॉल को छोड़कर इंटरनेट सेवाओं (2जी/3जी/4जी/सीडीएमए/जीपीआरएस) एसएमएस सेवाओं (केवल ब्लाक एसएमएस) और मोबाइल नेटवर्क पर दी जाने वाली सभी डोंगल सेवाओं को बंद करने की अवधि मंगलवार शाम पांच बजे तक बढ़ा दी है। वहीं 10 जिलों में सेवा बहाल कर दी गई है। 

प्रवक्ता ने बताया कि दूरसंचार अस्थायी सेवा निलंबन (लोक आपात या लोक सुरक्षा) नियम, 2017 के नियम 2 के तहत दुष्प्रचार और अफवाहों को रोकने के लिए इंटरनेट सेवाएं बंद करने के आदेश दिए गए हैं।

बीएसएनएल (हरियाणा अधिकार क्षेत्र) सहित हरियाणा की सभी टेलिकॉम सेवाएं देने वाली कंपनियों को इस आदेश का पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। कोई भी व्यक्ति इस आदेश के उल्लंघन का दोषी पाया गया तो वह संबंधित प्रावधानों के तहत कानूनी कार्रवाई के लिए उत्तरदायी होगा।

इंटरनेट सेवा बाधित करने के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका
हरियाणा सरकार द्वारा राज्य में इंटरनेट सेवाएं बार-बार बाधित किए जाने के खिलाफ पंजाब -हरियाणा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया गया है। संदीप सिंह व अन्य ने याचिका दायर कर कहा है कि 26 जनवरी को केंद्र सरकार ने सिंघु बार्डर, गाजीपुर, टीकरी, मुकरबा चौक और नांगलोई के आसपास इंटरनेट सेवाओं को रोक दिया है। इसी के तहत हरियाणा सरकार ने 29 जनवरी को एक आदेश के तहत राज्य के 17 जिलों में मोबाइल इंटरनेट सेवाओं पर रोक लगा दी है, जो अलग-अलग आदेश के तहत अब तक जारी है। 

याचिका में आरोप लगाया गया है कि सरकार की इस तरह की कार्रवाई मौलिक अधिकारों के खिलाफ है। सरकार की इस कार्रवाई के कारण आम लोगों को निजी व व्यापारिक तौर पर कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। याचिका में कहा गया है कि कोरोना के चलते बच्चों की पढ़ाई और अन्य कार्यालय से जुड़े काम घर से चल रहे हैं लेकिन इंटरनेट सेवाओं के निलंबन के चलते सभी को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। 

याचिका में हाईकोर्ट से मांग की गई है कि सरकार को निर्देश दिया जाए कि वह इस तरह के आदेश जारी न करे और अगर किसी कारणवश सेवा बाधित हो तो आम जनता को सात दिन पूर्व का नोटिस जारी किया जाए। फिलहाल यह याचिका हाईकोर्ट रजिस्ट्री में दाखिल हुई है, जिस पर जल्द ही सुनवाई हो सकती है।

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