दिनभर इंतजार के बाद मायूस लौट रही गर्भवती महिलाएं

हमीरपुर। क्षेत्रीय अस्पताल में गर्भवती महिलाओं को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं मिल रही है। दिनभर इंतजार के बावजूद महिलाओं को बिना उपचार लौटना पड़ रहा है। गर्भवती महिलाओं के साथ आए परिजनों को भी परेशानियों से जूझना पड़ रहा है। न ही अस्पताल प्रबंधन कोई रास्ता निकाल पा रहा है और शायद मरीजों का दर्द सरकार, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को सुनाई नहीं दे रहा है। जनता परेशानी होती रहे, उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता।
सोमवार को उपचार को पहुंची गर्भवती महिलाओं में सुनीता देवी, विमला देवी, सुमन कुमारी, नितिन कुमारी, सोनू कुमारी आदि का कहना है कि उपचार के लिए सुबह करीब 10 बजे से गायनी कक्ष के बाहर खड़ी हैं लेकिन दोपहर 12 बजे तक कोई भी चिकित्सक गायनी कक्ष में नहीं पहुंचा है। महिलाओं का आरोप है कि एक तरफ तो स्वास्थ्य विभाग गर्भवती एवं प्रसूता महिलाओं को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के बड़े दावे कर रहा है। क्षेत्रीय अस्पताल हमीरपुर में दावों की हवा निकल गई है।
दिनभर इंतजार के बावजूद महिलाओं को बिना उपचार घर वापस लौटना पड़ रहा है। दूर दराज क्षेत्रों से पहुंची महिलाओं को अधिक परेशानी हो रही है। महिलाओं के साथ पहुंचे परिजनों का आरोप है कि गायनी कक्ष में अगर डाक्टर नहीं बैठ सकता है। तो कम से कम इसका नोटिस तो दरवाजे पर लगा होना चाहिए जिससे महिलाओं को व्यर्थ में चिकित्सक का इंतजार न करना पड़े। उधर, एसएमओ डा. केसी चोपड़ा का कहना है कि गायनी विशेषज्ञों की स्थिति के बारे में उच्चाधिकारियों को अवगत करवा दिया गया है। निदेशालय से आदेश होने के बाद समस्या का स्थायी समाधान हो सकता है।

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