आईजीएमसी में चार कर्मचारी नेताओं के तबादले

शिमला। इंदिरा गांधी मेडिकल कॉलेज (आईजीएमसी) कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष और महासचिव सहित चार कर्मचारी नेताओं की ट्रांसफर कर दी गई है। इनमें रमेश चौहान को ऊना (अंब), सुखदेव वर्मा को चंबा (डलहौजी), दिलीप रघुवंशी को ऊना (हरोली) और बस्ती राम को पांवटा साहिब भेजने के आर्डर हुए हैं। ट्रांसफर हुए कर्मचारी नेताओं ने इसके पीछे एनजीओ फेडरेशन ( हेम सिंह गुट) के महासचिव एसएस जोगटा का हाथ बताया है। कहा कि राज्य सरकार से कोई शिकवा नहीं, लेकिन सरकार को ये स्वयंभू नेता गुमराह कर रहे हैं। कर्मचारियों के हितैषी सुरेंद्र मनकोटिया और गोपाल शर्मा की अध्यक्षता में आईजीएमसी कर्मचारी संघ मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह से मिलेगा और उन्हें सच्चाई से अवगत कराया जाएगा।
रमेश चौहान आईजीएमसी कर्मचारी संघ के अध्यक्ष हैं। ये यहां पर रेडियोग्राफर हैं। सुखदेव वर्मा महासचिव हैं और वरिष्ठ प्रयोगशाला तकनीकी सहायक हैं। बस्ती राम शर्मा पूर्व कर्मचारी अध्यक्ष हैं और चीफ फार्मासिस्ट के पद पर तैनात हैं। दिलीप रघुवंशी महासचिव हैं, वरिष्ठ प्रयोगशाला तकनीकी सहायक हैं।

आईजीएमसी में कुछ कर्मचारियों के इशारे पर यह तबादले हुए हैं। सरकार से शिकवा नहीं है। उक्त कर्मचारी अपनी राजनीति चमकाने के लिए ऐसा कर रहे हैं। कर्मचारियों में भय का माहौल पैदा करने की कोशिश की जा रही है।
– रमेश चौहान, कर्मचारी संघ के अध्यक्ष

सरकार को गुमराह करके एक दो कर्मचारियों ने यह तबादले करवाए हैं। संघ इसका विरोध करता है। सरकार के समक्ष सच्चाई बताने के लिए कर्मचारी नेता सुरेंद्र मनकोटिया और गोपाल शर्मा के नेतृत्व में मुख्यमंत्री से मुलाकात करेंगे।
– सुखदेव वर्मा, महासचिव

एनजीओ फेडरेशन के महासचिव के इशारे पर तबादले हुए हैं। सरकार को गलत जानकारियां देकर गुमराह किया गया है। कांग्रेस सरकार कर्मचारी हितैषी है। मुख्यमंत्री से मिलकर सच्चाई से अवगत करवाया जाएगा।
– दिलीप रघुवंशी, पूर्व महासचिव

ट्रांसफर राज्य सरकार का विशेषाधिकार है। तबादलों के पीछे मेरा हाथ होने का आरोप जो निराधार और राजनीति से प्रेरित है। भाजपा शासनकाल में अन्य कर्मचारियों की तरह मुझे भी जमकर प्रताड़ित किया गया और तबादला किया गया। उस समय मैंने इसका कोई विरोध नहीं किया। जहां ट्रांसफर की, वहां चले गए।
– एसएस जोगटा, कर्मचारी नेता

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