
सोलन। अब आपातकाल में अस्पतालों में चिकित्सा विशेषज्ञों की कमी आड़े नहीं आएगी। सरकारी अस्पतालों में भी जरूरत पड़ने पर निजी चिकित्सा विशेषज्ञों की सेवाएं ली जा सकेंगी। स्वास्थ्य विभाग ने इसका खाका तैयार कर लिया है। जिला में मौजूदा समय में नलबंदी और नसबंदी के आपरेशनों में निजी डाक्टरों की सेवाएं ली जा रही हैं।
योजना के लागू होते ही अन्य रोगों के इलाज में भी इनकी मदद ली जा सकेगी। राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के तहत स्वास्थ्य विभाग उनका पूरा खर्चा उठाएगा। आपातकाल के समय विशेषज्ञों के न होने से रोगियों को शिमला और पीजीआई रेफर किया जाता है। विभाग का दावा है कि इस योजना से रोगियों को लाभ पहुंचेगा। इसकी पुष्टि मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. शशिपाल ने की है।
नालागढ़ से हुई शुरुआत
इस योजना की शुरुआत नालागढ़ के एक निजी संस्थान में की जा चुकी है। यह संस्थान नलबंदी और नसबंदी के आपरेशन में सेवाएं दे रहा है। 20 आपरेशन तक सरकार की तरफ से 2000 रुपये में तय किए गए हैं। बीस से अधिक आपरेशन करने पर 100 रुपये प्रति आपरेशन सरकार देगी।
निजी विशेषज्ञों से मिलेगा मुफ्त इलाज
योजना यदि रंग लाई तो रोगियों को भी अधिक सुविधाएं मिलेंगी। निजी चिकित्सा विशेषज्ञों का इलाज निशुल्क मुहैया करवाया जाएगा। दुर्घटनाओं के समय अक्सर विशेषज्ञों के न होने पर रोगियों को आईजीएमसी या पीजीआई रेफर किया जाता है। देरी होने पर रोगी की जान तक जा सकती है। अब रोगियों के इलाज के लिए डाक्टरों को ही अस्पताल में बुलाया जाएगा।