डेढ़ साल बाद भी प्रोग्रेस जीरो

धर्मशाला। कांगड़ा जिले की पचास फीसदी पंचायतों की प्रोग्रेस रिपोर्ट जीरो है। 13वें वित्तायोग के तहत जिला परिषद द्वारा जारी बजट की पहली किस्त को अधिकांश पंचायतें खर्च नहीं कर पाई हैं। जिला परिषद कांगड़ा की शनिवार को धर्मशाला में हुई त्रैमासिक बैठक के दौरान इस मुद्दे पर जमकर बहस हुई।
जिला परिषद के उपाध्यक्ष जगदेव सिंह ठाकुर ने कहा कि जून 2011 में 13वें वित्तायोग के तहत कांगड़ा जिला की विभिन्न पंचायतों में राशि मुहैया करवाई गई। लेकिन अफसोस का विषय है कि पचास फीसदी पंचायतें पहली किस्त को अभी तक विकास कार्यों पर खर्च नहीं कर पाई हैं। उन्होंने बैठक के माध्यम से जिला के सभी खंड विकास अधिकारियों को इस संदर्भ में उपयोगिता प्रमाण पत्र जमा करवाने की अपील की है। उपाध्यक्ष ने कांगड़ा में आयोजित चौैथे वित्तायोग की बैठक में जिला के सभी पंचायती राज संस्थाओं के प्रतिनिधियों को आमंत्रित नहीं करने पर रोष प्रकट करते हुए कहा कि इस बैठक का सभी प्रतिनिधियों की मौजूदगी में दोबारा आयोजन किया जाना चाहिए।
बैठक की अध्यक्षता करते हुए जिप अध्यक्ष श्रेष्ठा कौंडल ने वर्ष भर के आय-व्यय का ब्यौरा सदन में प्रस्तुत किया। उन्होंने कहा कि विभिन्न मदों से जिप को इस साल 29.58 लाख की आय हुई। जबकि कार्यालयों में कंप्यूटर, बिजली बिल तथा पार्षदों के मानदेय पर 22.43 लाख खर्च किए गए। बैठक में जिला पार्षद प्रेम सागर, चौधरी हरभजन सिंह, अक्षय जसरोटिया समेत अन्य पार्षद मौजूद रहे। बैठक में सामूहिक दुराचार की पीड़िता की मौत पर दो मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई तथा एक प्रस्ताव भेजकर आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई।

पवन काजल हुए सम्मानित
जिला परिषद सदस्य पवन काजल के विधायक चुने जाने पर सदन में उन्हें शॉल व टोपी से सम्मानित किया गया। वहीं सभी जिला परिषद सदस्यों ने उन्हें बधाई दी।

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