
इस्लामाबाद: पाक में सरकार और न्यायपालिका के बीच टकराव की स्थिति पैदा हो गई है। देश के सर्वोच्च न्यायालय ने बिजली परियोजनाओं के लिए कथित रूप से रिश्वत लेने के मामले में प्रधानमंत्री राजा परवेज अशरफ की गिरफ्तारी का आदेश दिया था। इस पर कानून मंत्री फारूक एच. नाइक ने कहा है कि भ्रष्टाचार के मामले में केवल राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो (एन.ए.बी.) के अध्यक्ष ही गिरफ्तारी के आदेश दे सकते हैं। नाइक ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ट्रायल अदालत नहीं है। किसी भी मामले की सुनवाई सबसे पहले निचली अदालत में होती है और फिर उच्च न्यायालय तथा सर्वोच्च न्यायालय में अपील होती है।
कानून मंत्री ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय के आदेश में इसका जिक्र नहीं है कि किसी विशेष व्यक्ति पर आरोप है या उसके खिलाफ कोई संदर्भ दाखिल किया गया है। उधर, देश में बदलते राजनीतिक घटनाक्रम के बीच राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी के प्रवक्ता फरहतुल्लाह बाबर ने कहा कि राष्ट्रपति किसी भी हालात के लिए तैयार हैं और फिलहाल कराची में रह रहे हैं, जहां से वह राजनीतिक घटनाक्रम पर नजर रखेंगे।
बलूचिस्तान विधानसभा ने खारिज किया गवर्नर शासन
पाकिस्तान में बलूचिस्तान विधानसभा ने प्रांत में गवर्नर शासन लगाने के संघीय सरकार के फैसले को एकमत से खारिज कर दिया है। क्वेटा में पिछले गुरुवार को हुए 2 बम विस्फोटों में 86 लोगों के मारे जाने और 120 के घायल होने के बाद बलूचिस्तान में सोमवार को गवर्नर शासन लगाया गया था। विधानसभा ने मंगलवार 15 जनवरी को 2 प्रस्ताव पारित कर प्रांत में गवर्नर शासन को खारिज कर दिया।