ऐसे तो विलुप्त हो जाएगी यूनानी चिकित्सा पैथी : डा.चौधरी

काशीपुर। उत्तरांचल यूनानी मेडिकल एसोसिएशन की बैठक में सरकार द्वारा यूनानी चिकित्सा पैथी की उपेक्षा पर गंभीर चिंता व्यक्त की गई। वहीं संगठन के प्रदेशाध्यक्ष डा.युनूस चौधरी ने कहा कि उपेक्षा का यही आलम रहा को उत्तराखंड में यूनानी चिकित्सा पैथी विलुप्त हो जाएगी।
रविवार को उत्तरांचल यूनानी मेडिकल एसोसिएशन की बैठक संगठन के प्रदेश कार्यालय स्टेडियम रोड विजय नगर में डा.फसीउद्दीन के आवास पर हुई। बैठक में सरकार से यूनानी मेडिकल कालेज खोलने, आयुर्वेदिक के साथ ही यूनानी शब्द का प्रयोग करने की मांग की गई। सरकार द्वारा यूनानी पैथी की उपेक्षा पर गंभीर चिंता जताई गई। बैठक की अध्यक्षता कर रहे संगठन अध्यक्ष एवं कांग्रेस प्रदेश सचिव डा.युनूस चौधरी ने कहा कि उत्तराखंड में आयुर्वेदिक तथा यूनानी चिकित्सा का एक ही बोर्ड है, परंतु जब भी बोर्ड से संबंधित कोई घोषणा होती है। उसमें केवल आयुर्वेदिक शब्द का प्रयोग होता है। बीते दिनों स्वास्थ्य मंत्री सुरेंद्र सिंह नेगी ने कैबिनेट की बैठक में आयुर्वेदिक डाक्टरों को एलोपैथी दवाओं के प्रयोग की अनुमति देने का प्रस्ताव रखा। परंतु प्रस्ताव में यूनानी शब्द का प्रयोग नहीं किया गया।
बैठक में चिकित्सकों ने सरकार से यूनानी पैथी की उपेक्षा नहीं करने, यूनानी मेडिकल कालेज खोलने की मांग की है। बैठक में डा.फसीउद्दीन हक, डा.हबीव रहमान, डा.परवेज आलम, डा.कमर आलम, डा.सलीम अख्तर, डा.आसिफ, डा.वसीम, डा.शाहिद, डा.कासिफ, डा.जमशेद, डा.आमीर, डा.मोबीन, डा.अमीर अहमद, डा.सलीम अख्तर आदि थे।

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