आईआरडीपी मामले को लेकर उग्र हुए चुक्कू के लोग

उरला (मंडी)। क्षेत्र की ग्राम पंचायत चुक्कू के ग्रामीणों ने रविवार को आयोजित पंचायतों की आम सभा की बैठक में कोरम पूरा होने के बावजूद आईआरडीपी परिवारों की छंटनी न करने का आरोप पंचायत प्रतिनिधियों पर जड़ा है। इस बावत पंचायत के दर्जनों लोगों ने मंगलवार को चुक्कू पंचायत कांग्रेस कमेटी के सलाहकार बेसर सिंह ठाकुर की अध्यक्षता में तहसीलदार पधर के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन प्रेषित कर उचित कार्रवाई अमल में लाने की गुहार लगाई है। जालम सिंह, बलवीर सिंह, भीम सिंह, प्रेम सिंह, नागेश कुमार, हरि सिंह, प्यार चंद, तारू राम, सुरेंद्र, चेत राम, गुड्डू राम, पवन कुमार, नागेंद्र, दूनी चंद, रजनी देवी, मीना देवी व उर्मिला सहित लगभग चार दर्जन से भी ज्यादा ग्रामीणों का कहना है कि जनरल हाउस का कोरम पूरा होने के बावजूद आईआरडीपी परिवारों की छंटनी नहीं की गई। चूंकि पंचायत में इस मामले पर कार्यवाही सबसे अंत में अमल में लाई गई, जो पूरी तरह विवादित रही। पंचायत में आईआरडीपी और पीडीएस परिवारों की छंटनी प्रक्रिया को लेकर भी खूब गहमागहमी हुई। लोग आईआरडीपी में लिए गए अपात्र परिवारों को बाहर कर नए पात्रों का चयन करने की मांग करते रहे, लेकिन इस पर प्रतिनिधियों ने हाउस की कोई सुनवाई नहीं की। वहीं पुराने आईआरडीपी सदस्यों के बारे में भी विस्तृत जानकारी नहीं दी गई। उक्त ग्रामीणों का कहना है कि पंचायत में कई लोग तीस से चालीस साल से लगातार आईआरडीपी के पात्र बने हुए हैं, जो किसी भी तरह से न्यायसंगत नहीं है। वहीं कई लोगों को सरकार की ओर से लाभान्वित करने के बावजूद पात्र बनाए रखा है। ऐसे परिवारों की छंटनी कर पात्र परिवार चयन करने के लिए एसडीएम पधर को आदेश जारी करने की मांग ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री से लगाई है। वहीं, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री कौल सिंह ठाकुर तथा ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिल शर्मा को ज्ञापन भेजा है। उधर, पंचायत प्रधान दिनेश कुमार का कहना है कि पंचायत में आईआरडीपी में कोई भी अपात्र परिवार शामिल नहीं है।

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